भोपाल : सात अप्रैल, 2016-इससे अच्छी बात और क्या हो सकती है जब कोई जन-प्रतिनिधि चिकित्सा से जुड़े विद्यार्थियों की शिक्षा के लिये मृत्योपरांत अपनी देहदान का संकल्प ले। लेकिन भोपाल के युवा सांसद श्री आलोक संजर ने आज इसकी मिसाल पेश की है। अपने सक्रिय कार्यकर्ता सहर्ष श्रीवास्तव के पिता शरद कुमार श्रीवास्तव के निधन के बाद एम्स भोपाल में उनके शव के देहदान के बाद श्री आलोक संजर ने भी अपने देहदान की घोषणा की। इतना ही नहीं उन्होंने एम्स के चिकित्सकों को मृत्योपरांत देहदान संबंधी प्रपत्र को भरकर सौंपा।
श्री शरद श्रीवास्तव आलोक संजर के पारिवारिक मित्र भी रहे हैं। भोपाल मेमोरियल अस्पताल में इलाज के दौरान उनकी मृत्यु हो गयी थी। शरद ने भी देहदान की घोषणा की थी। परिजनों ने उनके संकल्प की पूर्ति करने में कोई कसर नहीं छोड़ी और चिकित्सा छात्रों के हित में शरद की देह का दान किया। एम्स में हुई शोक-सभा में श्री संजर न सिर्फ शरद श्रीवास्तव के संकल्प और परिजनों की कर्त्तव्यपरायणता से प्रभावित हुए, बल्कि अपने श्रद्धांजलि देते हुए भावुक भी हो गये। उन्होंने अपने पारिवारिक मित्र शरद के संकल्प से प्रेरणा लेकर देहदान का संकल्प लिया तथा मौके पर ही उसकी प्रक्रिया को भी पूरा किया।