पटना, 23 नवंबर (आईएएनएस)। बिहार में सत्ताधारी महगठबंधन में शामिल कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और राज्य के शिक्षामंत्री अशोक चौधरी के उस बयान को लेकर सियासत गर्मा गई है, जिसमें उन्होंने गठबंधन टूटने की बात कही थी।
गठबंधन में शामिल राष्ट्रीय जनता दल (राजद) ने इस बयान को बेमतलब का बताया है। वहीं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने तंज कसते हुए कहा कि बिहार में मंत्री ही सरकार के मुखिया के विरोध में हैं। हालांकि, जनता दल (युनाइटेड) का कहना है कि गठबंधन मजबूत है।
कांग्रेस अध्यक्ष अशोक चौधरी ने यहां बुधवार को कहा कि कांग्रेस जनता की मुश्किलों के साथ है। उन्होंने कहा कि यदि आलाकमान की ओर से निर्देश मिलेगा, तो आज भी गठबंधन टूट सकता है।
पटना में नोटबंदी के खिलाफ कांग्रेस द्वारा आयोजित विरोध मार्च में भाग लेते हुए चौधरी ने कहा, “कांग्रेस एक राष्ट्रीय पार्टी है और हमारी पार्टी जनता की मुश्किलों के साथ है। नोटबंदी से अगर जनता को परेशानी हो रही है, तो हम जनता के साथ खड़े हैं।”
उन्होंने आगे कहा, “पार्टी के आलाकमान की सहमति से हमने बिहार मे महागठबंधन का साथ दिया था। अगर आलाकमान का निर्देश हो तो आज ही बिहार में गठबंधन टूट सकता है। हमें कोई फर्क नहीं पड़ता कि कौन साथ रहेगा और कौन जाएगा?”
इधर, सत्ताधारी महगठबंधन में शामिल जनता दल (युनाइटेड) के महासचिव क़े सी़ त्यागी से जब चौधरी के इस बयान के विषय में पूछा गया तो उन्होंने कहा, “अशोक चौधरी का बयान समझ से परे है। जहां तक नोटबंदी की बात है, तो महागठबंधन में शामिल तीनों दल एक साथ खड़े हैं। सदन में सभी विपक्ष साथ हैं।”
उन्होंने कहा कि ऐसे बयानों से गठबंधन की सेहत पर कोई असर नहीं पड़ने वाला है।
इस बीच राजद के वरिष्ठ नेता और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने स्पष्ट किया कि कांग्रेस के किसी भी नेता का बयान बेमतलब है। उन्होंने कहा, “जबतक कांग्रेस आलाकमान का कोई बयान नहीं आता, ऐसे बयान का कोई मतलब नहीं है।”
इस बीच, राज्य की मुख्य विपक्षी पार्टी भाजपा ने चौधरी के बयान पर कटाक्ष करते हुए कहा कि मंत्री ही सरकार के मुखिया के विरोध में हैं।
भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री नंदकिशोर यादव ने कहा, “बिहार में राजद, जद (यू) और कांग्रेस का गठबंधन नापाक है। यह केवल सत्ता के लिए है। इस सरकार के मंत्री ही सरकार के मुखिया का विरोध कर रहे हैं। वे गठबंधन तोड़ने की धमकी दे रहे हैं। ऐसे में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को जवाब देना चाहिए कि वह कैसी सरकार चला रहे हैं।”
उल्लेखनीय है कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने केंद्र सरकार की नोटबंदी का समर्थन किया है।