राहुल गुप्ता चर्चा में तब आए थे, जब उन्होंने अफ्रीका महाद्वीप की सबसे ऊंची चोटी माउंट किलीमंजारो (5895 मीटर) को फतह किया था।
माउंट एवरेस्ट की चढ़ाई के लिए पूरे विश्व से इस वर्ष 300 से ज्यादा पर्वतारोहियों ने पंजीकरण कराया है, जिसमें छत्तीसगढ़ के माउंटेनमैन राहुल भी शामिल हैं।
राहुल ने बताया कि दुनिया की सबसे ऊंची चोटी पर चढ़ने के इस अभियान को पूरा करने में उन्हें तीन महीने लगेंगे। उन्होंने बताया कि आमतौर पर एक पर्वतारोही को 18 से 65 लाख रुपये तक सुविधाओं के अनुसार खर्च आता है, मगर उन्हें इस अभियान में 27 लाख रुपये खर्च होने का अनुमान है।
टीम में चार लोग हैं, जिनमें राहुल गुप्ता (एक्सपीडीशन लीडर), अम्बिकापुर के गुरमिंदर सिंह (बेस कैम्प मेम्बर), मिंगमा शेरिंग शेरपा (एक्सपीडीशन गाइड) और मिंगमा दोर्जे शेरपा (हाई एल्टीट्यूड पोटर) शामिल हैं।
आमतौर पर भारतीय पर्वतारोही साउथकोल (नेपाल) से चढ़ते हैं, लेकिन पर्वतारोही राहुल नॉर्थकोल (तिब्बत, चीन) तरफ से चढ़ाई करेंगे। राहुल हर पर्वत पर सार्वभौमिक संदेश लेकर जाते हैं। इस बार माउंट-एवरेस्ट पर वे ‘स्वच्छ भारत अभियान’ का संदेश लेकर जा रहे हैं।
राहुल ने बताया कि इस प्रोजेक्ट की देखरेख राज्य के मुख्यमंत्री व खेलमंत्री डॉ. रमन सिंह कर रहे हैं।
सरगुजा की कलेक्टर ऋतु सेन ने कहा कि इस अभियान से छत्तीसगढ़ में एडवेंचर स्पोर्ट्स का एक प्लेटफार्म स्थापित किया जा सकता है। वह प्लेटफार्म युवाओं को साहसिक खेलों के लिए प्रोत्साहित कर सकता है।
सरगुजा के पुलिस अधीक्षक पी. सुंदराज ने कहा कि राहुल का यह अभियान छत्तीसगढ़ के युवाओं के लिए प्रेरणादायक है।