(खुसुर-फुसुर)– मप्र में निगम-मंडलों में हुई नियुक्तियों में हुई एक नियुक्ति के आका आजकल निगम में नियुक्त अध्यक्ष जी से ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं और मुंह फुलाए बैठे हैं.दरअसल नेता जी ने मप्र के इस प्रबल पदाधिकारी से राम दुहाई कर निगम में अपनी सीट तो पक्की कर ली लेकिन नेता जी की असलियत उनके आका को पता चलते ही आका सहम गए क्योंकि राजनैतिक हलके में वरिष्ठ पदाधिकारी की छवि भी वैसी ही लोग समझने लगे हैं जिसके लिए नेताजी कुख्यात हैं.अब आका ने तो भाईचारा निभाते हुए पद दिलवाया लेकिन आका को क्या पता था की नेताजी की पनौती उनसे भी चिपक जायेगी.
बहरहाल खबर यह है की राजधानी से दूर एक आयोजन में जब नेताजी अपने आका के पास मिलने पहुँच गए तो आका गुस्सा हो गए और नेताजी को चलता कर दिया.लेकिन नेताजी भी बड़े पक्के दिल के निकले उन्होंने मीडिया के सामने ऐसी भूमिका बनायी की लगे नेताजी की बड़ी आव-भगत की गयी है.अब डिमोशन होने के बाद नेताजी को सन्नाटे में हैं ही आका की स्थिति भी ना निगलते बन रही ना उगलते.