भेदभावमुक्त समाज बनाने, सभी वर्गो, जातियों एवं धर्मो में आपसी सद्भावना कायम करने तथा देश में मैत्री व एकता के संदेश को लेकर निकाली जा रही इस यात्रा की प्रशंसा करते हुए उन्होंने कहा कि इससे समाज को प्रेरणा मिलेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि शांति साइकिल यात्रा के माध्यम से पर्यावरण के प्रति जागरूकता पैदा करने, लोगों को नशामुक्त बनाने एवं अहिंसा को बढ़ावा देने के लिए नौजवानों द्वारा किया जा रहा प्रयास काबिल-ए-तारीफहै। इस प्रकार का प्रयास प्रत्येक राज्य मंे किया जाना चाहिए।
2012 में सर्व सेवा संघ एवं गांधी शांति प्रतिष्ठान द्वारा अन्य गांधी विचार प्रणीत संस्थाओं के साथ कोकराझार में असम शांति यात्रा की शुरुआत की गई थी, जो काफी सफल रही थी। इसे ध्यान में रखते हुए सर्वसेवा संघ द्वारा अन्य गांधीवादी संस्थाओं के सहयोग से मोहब्बत का पैगाम लेकर तीन सितम्बर से कोकराझार से यात्रा शुरू की गई।
यह साइकिल यात्रा असम, पश्चिम बंगाल और बिहार होते हुए बुधवार को लखनऊ पहुंची, जहां मुख्यमंत्री ने अपने आवास से इसे रवाना किया। यह यात्रा उत्तर प्रदेश, दिल्ली, हरियाणा, पंजाब होते हुए जम्मू-कश्मीर पहुंचेगी। लगभग 60 दिनों तक चलने वाली इस यात्रा में विभिन्न धर्मो, संप्रदायों एवं जातियों के 25 युवा साइकिल चला रहे हैं।