नई दिल्ली, 28 मई (आईएएनएस)। केंद्र सरकार ने गुरुवार को कहा कि उसने पिछले सप्ताह के दौरान अर्धसैनिक बलों की 60 कंपनियां राजस्थान भेजी हैं। उन कंपनियों में लगभग 4,500 सुरक्षा जवान हैं। इन्हें राज्य में जारी गुर्जर आंदोलन से निपटने के लिए राज्य सरकार की सहायता के मद्देनजर वहां भेजा गया है।
गृहमंत्रालय के एक अधिकारी ने यहां पर बताया, “पिछले एक सप्ताह में हमने अर्धसैनिक बलों के 4,500 जवान राजस्थान भेजे हैं। अगर आवश्यकता हुई तो और जवानों को वहां भेजा जाएगा।”
वहीं राजस्थान उच्च न्यायालय ने राज्य सरकार को आदेश दिया है कि वह रेल की पटरियों और सड़कों से गुर्जर प्रदर्शनकारियों को हटाए।
गुर्जर नेता किरोड़ी सिंह बैंसला के खिलाफ अवमानना याचिका पर सुनवाई करते हुए बुधवार को न्यायाधीश न्यायमूर्ति आर.एस. राठौड़ ने पुलिस से रेल की पटरियों और जयपुर-आगरा राष्ट्रीय राजमार्ग को प्रदर्शनकारियों से खाली कराने के लिए कहा था। न्यायालय ने कहा था कि ऐसा प्रतीत होता है कि राज्य में कानून-व्यवस्था पटरी से उतर गई है।
रिपोर्टो के मुताबिक, 21 मई से आंदोलन कर रहे गुर्जर प्रदर्शनकारियों द्वारा रेल और सड़क यातायात बाधित करने के कारण भारी आर्थिक नुकसान हुआ है।
राज्य में गुर्जर सरकारी नौकरी और शिक्षण संस्थानों में विशेष पिछड़ा वर्ग (एसबीसी) के अंतर्गत पांच फीसदी आरक्षण की मांग कर रहे हैं और वह भी आरक्षण की अधिकतम सीमा 50 फीसदी के अंतर्गत।
आंदोलन कर रहे गुर्जर प्रदर्शनकारी 21 मई से भरतपुर के पीलू का पुरा इलाके में रेल की पटरियों पर जमे हुए हैं। इस आंदोलन में दिल्ली-मुंबई रेलमार्ग पर रेलगाड़ियों का परिचालन प्रभावित हुआ है।
आंदोलन के कारण कोटा मथुरा ट्रैक पर 208 से अधिक रेलगाड़ियां रद्द कर दी गई हैं। जबकि 109 अन्य रेलगाड़ियों के मार्ग में परिवर्तन किया गया है।
एक बयान के मुताबिक, “यह संज्ञान में आया है कि जबसे आंदोलन शुरू हुआ है तब से आईआरसीटीसी की वेबसाइट पर प्रतिदिन 1.9 लाख रिजर्वेशन रद्द किए जा रहे हैं। जबकि आम दिनों में प्रतिदिन 1.1 लाख रिजर्वेशन रद्द होते हैं।”
अचानक से उपभोक्ताओं की संख्या बढ़ने के कारण आईआरसीटीसी ने भी वेबसाइट में खराबी आने की बात कही है।
आम दिनों में सुबह 10 बजे से 11 बजे के बीच आईआरसीटीसी की वेबसाइट पर 1 करोड़ हिट होते हैं, जो कि आंदोलन के कारण बढ़कर 2.23 करोड़ हो गए हैं। 22 मई को यह संख्या सबसे अधिक तीन करोड़ थी।