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जानें क्या है फेफड़े का संक्रमण ? क्या है इलाज

April 30, 2021 10:32 am by: Category: विज्ञान Comments Off on जानें क्या है फेफड़े का संक्रमण ? क्या है इलाज A+ / A-

सीने में संक्रमण (Chest infection)

सीने में संक्रमण (chest infection) मुख्य रूप से पतझड़ (Autumn) और ठंड (winter) के दौरान या ज़ुखाम (cold) या फ्लू (flu) के बाद होना बहुत सामान्य है।

हालांकि बहुत से हल्के होते हैं और अपने से ठीक हो जाते हैं कुछ मामले बहुत गम्भीर और जीवन के लिए घातक हो सकते हैं।

सीने में संक्रमण (chest infection) के मुख्य लक्षण ये हैं :

सीने में बलगम (a chesty cough)
साँस लेने में समस्या (breathing difficulty)
सीने में दर्द (chest pain)
सिरदर्द (headache) और बुखार का होना भी सामान्य है।

सीने में संक्रमण के लक्षणों (symptoms of chest infection) के बारे में और जानकारी प्राप्त करें।

सीने में संक्रमण के प्रकार (type of chest infection)
सीने में संक्रमण दो प्रकार के होते हैं:

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis)

निमोनिया (pneumonia)

एक्यूट का अर्थ होता है कि संक्रमण कम समय तक रहता है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) और निमोनिया (pneumonia) के लक्षण समान होते हैं लेकिन निमोनिया के लक्षण अक्सर अधिक गम्भीर हो सकते हैं और मेडिकल सहायता की ज़रूरत पड़ सकती है।

डॉक्टर को कब दिखाएं (when to see a doctor)
ब्रोंकाइटिस आमतौर पर अपने आप ठीक हो जाता है इसलिए डॉक्टर को दिखाने की ज़रूरत नहीं पड़ती है। आपको डॉक्टर को दिखाना चाहिए यदि आपको लगता है कि आपको निमोनिया है।

आपको ब्रोंकाइटिस है या निमोनिया इसके बारे में जानना मुश्किल हो सकता है क्योंकि दोनों के लक्षण एक जैसे होते हैं। लेकिन यदि आपके लक्षण गम्भीर हैं तो आपको निमोनिया होने की संभावना अधिक होगी।

यहां कई लक्षण हैं जिनका मतलब है आपको डॉक्टर को दिखाना चाहिए। जिसमें शामिल है:

बुखार (high temperature) (यह अमतौर पर बहुत गम्भीर प्रकार के लक्षण का संकेत संकेत होता है)
उलझन या भटकाव (confusion or disorientation)
सीने में तेज़ दर्द (a sharp pain in your chest)
खून वाले बलगम की खाँसी (coughing up blood stained phlegum)
आपके लक्षण 3 हफ्ते से ज़्यादा रहते हैं
सीने में संक्रमण के लक्षणों (symptoms of chest infection) के बारे में और जानें।

सीने में संक्रमण का इलाज (treating chest infection)
ब्रोंकाइटिस का दौरा आमतौर पर 7 से 10 दिनों में बिना किसी दवा के अपने आप ठीक हो जाता है।

यदि आपको संदेह है कि आपको निमोनिया है तो आपको डॉक्टर को दिखाना चाहिए।

यदि आपको सीने में संक्रमण है आपको करना चाहिए?

डिहाइड्रेशन (dehydration) को रोकने के लिए और पतले बलगम को खाँसने में आसान बनाने के लिए बहुत ज़्यादा तरल पदार्थ पीएं
पैरासिटामोल (paracetamol) या इबुप्रोफेन (ibuprofen) से सिरदर्द (headache), बुखार (fever) और दर्द का इलाज करें
धूम्रपान तुरंत छोड़ दें
खाँसी की दवाओं पर अपने पैसे बरबाद मत करें। इसके बहुत कम सबूत है कि वे काम करेंगे। और और किसी भी मामले में, खाँसी आपके फेफड़ों से बलगम (phlegum) को हटाकर संक्रमण को अधिक तेज़ी से साफ़ करने में मदद करती है।

यदि खाँसी से आपके गले में खराश है तो आप इस को शहद और निम्बू के गर्म पेय से ठीक कर सकते हैं।

क्योंकि ब्रोंकाइटिस आमतौर पर वायरस के कारण होता है, एंटीबायोटिक (antibiotics) के सेवन से शायद ही आपके सुधार में मदद मिलेगी। ब्रोंकाइटिस के लिए अनावश्यक रूप से एंटीबायोटिक का सेवन एंटीबायोटिक प्रतिरोध (antibiotics resistance) बनकर अच्छे से अधिक हानि पहुँचा सकता है।

निमोनिया , ब्रोंकाइटिस के जैसा नहीं है यह अक्सर बैक्टीरिया के कारण होता है और इलाज के लिए एंटीबायोटिक की ज़रूरत होती है यदि आपको हल्का निमोनिया है तो आप घरपर एंटीबायोटिक टैबलेट का सेवन कर सकते हैं। यदि निमोनिया अधिक गम्भीर है तो एंटीबायोटिक अस्पताल में नसों के द्वारा दी जाएगी।

सीने में संक्रमण के इलाज (treatment of chest infection) के बारे में और जाने।

सीने में संक्रमण की रोकथाम (preventing chest infection)
ऐसे उपाय हैं जो आप सीने में संक्रमण को रोकने में मदद और इसे दूसरों तक फैलने से रोक सकते हैं।

अच्छी स्वच्छता (good hygiene)
हालांकि सीने का संक्रमण अन्य संक्रमणों जैसे कि फ्लू की तरह संक्रामक नहीं होता है आप इसे खाँसने या छींकने के द्वारा दूसरों में फैला सकते हैं। इसलिए यदि आपको सीने में संक्रमण है तो खाँसने या छींकते समय अपने मुंह को ढकना और नियमित हाथ धोना बहुत ज़रूरी है। इस्तेमाल किये हुए टिशू को तुरंत फेंक दें।

धूम्रपान छोड़ दें
यदि आप धूम्रपान करते हैं तो सीने के संक्रमण से बचने के लिए जो आप सबसे अच्छी चीज़ कर सकते हैं वो है धूम्रपान छोड़ना। धूम्रपान आपके फेफड़ों को खराब कर देता है और संक्रमण के विरोध में आपकी सुरक्षा को कमज़ोर कर देता है।

वैक्सीनेशन (vaccination)
यदि आपको सीने का संक्रमण होने का अत्यधिक खतरा है उदाहरण के लिए आपकी उम्र 65 साल से अधिक है तो आपके डॉक्टर आपको कुछ वैक्सीनेशन की सलाह दे सकते हैं।

सीने में संक्रमण की रोकथाम (prevention of chest infection) के बारे में और जाने।

सीने में संक्रमण के लक्षण (chest infection symptoms)
यहां वयस्कों में दो प्रकार के सीने में संक्रमण होते हैं एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) और कम सामान्य निमोनिया (pneumonia)

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis)
एक्यूट ब्रोंकाइटिस आमतौर पर एक हल्की बीमारी है जो बिना मेडिकल इलाज के अपने आप ठीक हो जाती है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस के लक्षणों में शामिल है:

लगातार सीने में बलगम (a persistent chesty cough)
हरे या पीले बलगम वाली खाँसी
थकान से साँस फूलना
घरघराहट (wheeziness)
मुँह सूखना (dry mouth)
38℃ से अधिक तापमान (high temperature fever) (हालांकि कुछ लोगों में जैसे कि बड़े लोगों में तापमान गिर सकता है )
सिरदर्द (headache)
भूख ना लगना (loss of appetite)
खाँसी आमतौर पर 7 से 10 दिनों तक रहती है हालांकि ये 3 हफ़्तों तक रह सकती है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस अक्सर सिरदर्द या उबकाई का कारण बनती है। साथ ही साथ संक्रमण के कारण होने से ये लक्षण कभी कभी डिहाइड्रेशन के कारण भी हो सकते हैं। इसलिए पर्याप्त तरल पेय लेना ज़रूरी है।

ब्रोंकाइटिस के बारे में और पढ़ें।

निमोनिया (pneumonia)
निमोनिया के सामान्य लक्षणों में ये शामिल है:

साँस लेने में समस्या (difficulty breathing) (साँस तेज़ और कम हो जाती है)
खाँसी में बलमग (a cough that brings up phlegum)
तेज़ हृदयगति (rapid heart beat)
उच्च तापमान (high temperature)
सीने में दर्द (chest pain)
निमोनिया के कम सामान्य लक्षणों में ये शामिल है:

खाँसी में ख़ून (coughing up blood)
सिरदर्द (headache)
भूख ना लगना (loss of appetite)
थकान (fatigue)
मिचली (nausea)
उल्टी (vomiting)
जोड़ों और मांसपेशियों में दर्द (joint and muscle pain)
त्वचा पर नीली रंगत (a blue ting to the skin) (सायनोसिस) (cyanosis)
कभी-कभी निमोनिया से पीड़ित बड़े लोग उलझन और भटकाव महसूस कर सकते हैं।

निमोनिया के बारे में और जानें।

मेडिकल सलाह कब लें (when to seek a medical advice)
यदि आपको संदेह है कि आपको निमोनिया हो गया है तो आपको डॉक्टर को दिखाना चाहिए।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस और निमोनिया के लक्षण एक जैसे हो सकते हैं लेकिन निमोनिया के लक्षण आमतौर पर अधिक गम्भीर होते हैं।

अपने डॉक्टर को दिखाएं यदि:

आपको बुखार है। यह आमतौर पर बहुत गम्भीर संक्रमण का लक्षण होता है।
आप बहुत बीमार महसूस कर रहे हैं जिससे आप अपनी दैनिक गतिविधियों को संभालने में असमर्थ हो सकते हैं।
आप उलझा और भटके हुआ महसूस कर रहे हैं।
आप आराम करते समय साँस फूलने के लक्षणों का अनुभव कर रहे हैं या शारीरिक गतिविधि करने के दौरान आपकी साँस अधिक फूलती है
आपके सीने में तेज दर्द हो रहा है
आपको खाँसी में ख़ून आ रहा है
आपके लक्षण 3 हफ़्तों से ज़्यादा रहते हैं
अन्य अवस्थाओं जैसे एचआईवी या इलाज के परिणाम जैसे कीमोथेरेपी के कारण आपका इम्यून सिस्टम कमज़ोर है
यदि आपको कोई स्थायी स्वास्थ्य अवस्था है जो आपको सीने के संक्रमण के प्रति अधिक संवेदनशील बना सकती है तब भी आपको डॉक्टर को दिखाना चाहिए, जैसे:

हृदय रोग (heart disease) – जहां हृदय को होने वाली खून की आपूर्ति कम हो जाती है
मधुमेह (diabetes) – जहां शरीर इंसुलिन (insulin) बनाना बन्द कर देता है या इंसुलिन का सही तरीके से इस्तेमाल नहीं कर पाता है
किडनी रोग (kidney disease) – जहां किडनी (kidney) खून से विषैले पदार्थ पृथक करने की अपनी कुछ क्षमताएं खो देती है
अस्थमा (asthma) – जहां कई सारे पदार्थ जैसे धूल के कण के कारण फेफड़ों में सूजन हो जाती है जो आगे चल कर साँस की समस्या बन जाती है
क्रोनिक ऑब्सट्रक्टिव पाल्मनरी रोग (chronic obstructive pulmonary disease) – फेफड़ों (lungs){की अवस्थाओं के समूह के लिए इस्तेमाल होने वाला एक सामान्य टर्म जो साँस की गम्भीर समस्या का कारण बनता है।
सीने में संक्रमण के कारण (chest infection causes)
सीने के संक्रमण (chest infection) फेफड़ों या वायुमार्ग (lungs or airways) का संक्रमण होता है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के अधिकतर मामले वायरस के कारण होते हैं । निमोनिया (pneumonia) के अधिकतर मामले बैक्टीरिया के कारण होते हैं।

फेफड़े (lungs)
सीने के संक्रमण (chest infection) को जानने के लिए यह जानना अधिक मदद कर सकता है कि फेफड़े (lungs) कैसे काम करते हैं।

आपके फेफड़े (lungs) दो बड़े स्पंज के जैसे होते हैं जो ट्यूब से भरे होते हैं जैसे आप साँस अंदर लेते हैं आप अपने मुँह और नाक से ऑक्सीजन अंदर खींचते हैं फिर यह आपके गर्दन की ट्यूब से अंदर जाता है जिसे वायु नली (windpipe) या ट्रेकिआ (trachea) कहते हैं।

ट्रेकिआ (trachea) प्रत्येक फेफड़े (lungs) के लिए दो ट्यूब में बंट जाती है । इन्हें प्राथमिक ब्रांकाई कहते हैं। ब्रांकाई दो छोटे ब्रांकाई में बंट जाता है और छोटे ब्रांकाई के अंत पर छोटे हवा के सैक्स (एल्वियोली) (alveoli) होते हैं । आपके रक्त में ऑक्सीजन हृदय द्वारा पूरे शरीर में पंप होने से पहले एल्वियोली (alveoli) से होकर जाता है।

ऑक्सीजन के साथ साथ हवा में मिलने वाले बैक्टीरिया, वायरस भी आपके फेफड़ों के भीतर जा सकते हैं। यह आमतौर पर परेशानी का कारण नहीं बनता है क्योंकि आपका इम्यून सिस्टम (immune system) (संक्रमण के विरुद्ध शरीर की प्राकृतिक सुरक्षा) बैक्टीरिया या वायरस को मारने में सक्षम होता है।

हालांकि संक्रमण कभी-कभी ठहर सकता है मुख्य रूप से यदि आपका इम्यून सिस्टम (immune system) अन्य अवस्थाओं के कारण कमज़ोर हो गया या आपके फेफड़ों (lungs) में सिगरेट के धुएं के कारण जलन होती है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis)
संक्रमण के कारण ट्रेकिया (trachea) और बड़े ब्रांकाई (major bronchi) में होने वाली अस्थायी सूजन को एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) कहते हैं।

सूजन जोकि लगभग तीन हफ़्तों तक रह सकती है जो वायुमार्ग में सूजन और बलगम बनने का कारण बनती है जो खाँसने के द्वारा वायुमार्ग से साफ़ हो जाता है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के अधिकतर मामले वायरस के कारण होते हैं हालांकि कभी-कभी ये बैक्टीरिया के कारण भी हो सकते हैं।

निमोनिया (pneumonia)
निमोनिया (pneumonia) फेफड़ों के ऊतकों का संक्रमण होता है । रोगाणु जो इंफेक्शन का कारण बनते हैं जैसे कि निमोनिया (pneumonia) अक्सर समुदाय में फैलते हैं। कुछ लोगों में, रोगाणु निमोनिया का कारण बनते हैं।

वयस्कों में निमोनिया (pneumonia) का सबसे सामान्य कारण एक प्रकार का बैक्टीरियम है जिसे स्ट्रैपटोकोकस निमोनिया (streptococcus pneumonia) कहते हैं इस प्रकार के निमोनिया (pneumonia) को कभी-कभी न्यूमोकोकल निमोनिया (pneumococcal pneumonia) भी कहते हैं।

कम सामान्य रूप से अन्य प्रकार के बैक्टीरिया भी निमोनिया (pneumonia) का कारण बन सकते हैं जिसमें ये शामिल हैं

माइकोप्लाज्मा (mycoplasma)
हेमोफिलस इन्फ्लुएंजा (haemophilus influenzae)
स्टाफीलोकोकस ऑरीअस (staphylococcus aureus)
वायरस भी निमोनिया (pneumonia) का कारण बन सकता है जिसमें सबसे सामान्य रेस्पिरेटरी सिंसिशीयल वायरस (respiratory syncytial virus) है। अन्य वायरसों के कारणों में ये शामिल हैं

वेरीसेल्ला जोस्टर (varicella zoster) (एक वायरस जो चिकन पॉक्स (chickenpox) का कारण बनता है)
फ्लू (flu) इन्फ्लूएंजा (influenzae) टाइप ए और बी वायरस
निमोनिया के जोखिम भरे कारक (risk factors of pneumonia)

वायरल निमोनिया (pneumonia) वयस्कों की तुलना में छोटे बच्चों में अधिक सामान्य होता है।

कुछ समूह के लोगों में निमोनिया (pneumonia) होने का अधिक खतरा होता है जैसे कि

शिशु और छोटे बच्चे
बड़े लोग
लोग जो धूम्रपान करते हैं
लोग जिन्हें अन्य स्वास्थ्य अवस्थाएं हैं
लोग जिनका इम्यून सिस्टम कमज़ोर है । यह संक्रमण के विरुद्ध शरीर की प्राकृतिक सुरक्षा होती है)
अन्य स्वास्थ्य अवस्थाएं जो निमोनिया के खतरे को बढ़ा सकती हैं उनमें शामिल है

अन्य फेफड़े की अवस्था जैसे कि अस्थमा (asthma) या सिस्टिक फाइब्रोसिस (cystic fibrosis)
हृदय की अवस्था (heart condition)
किडनी या लिवर की अवस्था ( kidney or liver condition)
कमज़ोर इम्यून सिस्टम (a lowered immune system)
आपका इम्यून सिस्टम (immune system) इनके परिणामों में कमज़ोर हो सकता है

हाल में हुई बीमारी जैसे कि फ्लू (flu)
कैंसर के इलाज में जैसे कि कीमोथेरेपी (chemotherapy)
अंग प्रत्यारोपण (organ transplant) के बाद ली जाने वाली दवाई जो इम्यून सिस्टम (immune system) को दबाती है
स्वास्थ्य अवस्था जैसे कि एचआईवी (HIV) या एड्स (aids)
सीने में संक्रमण का पता लगाना (diagnosing chest infection)
आपके डॉक्टर आमतौर पर एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) या निमोनिया (pneumonia) का पता लगा सकते हैं।

आमतौर पर एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के मेडिकल निदान की ज़रूरत नहीं पड़ती है जबतक आपके लक्षण मुख्य रूप से गम्भीर या तीन हफ़्तों से अधिक न हों।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis)

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) आमतौर पर एक हल्की बीमारी है जो अपने आप चली जाती है इसलिए आमतौर पर डॉक्टर को दिखाने की ज़रूरत नहीं पड़ती है।

यदि आप अपने डॉक्टर को दिखाते हैं वे आपके लक्षणों के बारे में पूछकर और स्टेथोस्कोप (stethoscope) के इस्तेमाल से आपके सीने को सुनकर पता लगाने में सक्षम होंगे।

स्टेथोस्कोप (stethoscope) एक मेडिकल उपकरण होता है जो हृदय (heart) और फेफड़ों (lungs) को सुनने के लिए इस्तेमाल होता है।

अन्य अवस्थाओं का पता लगाना (rulling out other condition)

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के निदान की पुष्टि कर के आपके डॉक्टर को फेफड़ों की अन्य अवस्थाओं जैसे कि निमोनिया (pneumonia) के बारे में पता लगाने की ज़रूरत पड़ सकती है जिसमें ब्रोंकाइटिस (bronchitis) जैसे समान लक्षण होते हैं।

यदि आपके डॉक्टर को लगता है कि आपको निमोनिया (pneumonia) हो सकता है तो आपको सीने का एक्स रे करवाने की ज़रूरत पड़ सकती है । वे जांच के लिए बलगम का नमूना (sample of mucus) भी ले सकते हैं।

यदि एक अज्ञात अंदरूनी अवस्था का संदेह होता है जैसे कि अस्थमा (asthma) या (एम्फसीमा) (emphysema) (जिसमें आपके फेफड़ों के छोटे वायुमार्ग क्षतिग्रस्त हो जाते हैं तो आपके डॉक्टर आपको पाल्मनरी फंक्शन जांच का सुझाव दे सकते हैं।

यदि आप पाल्मनरी फंक्शन (pulmonary function) जांच करवाते हैं तो स्पाइरोमीटर (spirometer) में फूंकने से पहले आपके डॉक्टर आपको गहरी साँस लेने के लिए कह सकते हैं जो आपके फेफड़ों (lungs) में हवा के घनत्व को नापती है। फेफड़ों की क्षमता में गिरावट यह संकेत दे सकती है कि आपको अंदरूनी स्वास्थ्य अवस्था है।

निमोनिया (pneumonia)

यदि आपको संदेह होता है कि आपको निमोनिया (pneumonia)है तो आपको डॉक्टर को दिखाना चाहिए

सहायता के लिए पता लगाएं । आपके डॉक्टर आपसे आपके लक्षणों के बारे में पूछ सकतें हैं । उदाहरण के लिए वे आपसे पूछ सकते हैं।

क्या आप सामान्य से तेज़ सांस ले रहे हैं (रेस्पिरेटरी दर)
या आपकी साँस फूल रही है
आपको कब से खाँसी हो रही है
या आपकी खाँसी में बलगम है और उसका रंग क्या है
चाहे आपके साँस लेने या छोड़ने पर आपके सीने के दर्द बढ़ रहा है
आपके डॉक्टर संभावित रूप से आपके सीने के अगले और पिछले भाग में तीखी या तेज़ आवाज़ को सुनने के लिये स्टेथोस्कोप का इस्तेमाल कर सकते हैं। वे आपके सीने पर थपकी देकर उस आवाज़ को सुन सकते हैं जो वो पैदा करती है। यदि आपके फेफड़े (lungs) तरल से भरे होंगे तो वे सामान्य स्वस्थ फेफड़ों से भिन्न आवाज़ पैदा करेंगे।

आपके रक्तचाप (blood pressure) की भी जांच होगी क्योंकि अस्वाभाविक रूप से निम्न रक्तचाप (low blood pressure) आपको अधिक गम्भीर निमोनिया (pneumonia) होने का संकेत दे सकता है।

आपके डॉक्टर पल्स ऑक्सिमेट्री जांच (pulse oximetry test) भी कर सकते हैं। यह जांच इसलिए किया जाता है कि आपका फेफड़ा कितना ऑक्सीजन खींच रहा है। आपके उंगली कि पोर पर या कानों पर या पंजे पर लगाया जाता है । सेंसर प्रकाश तरंगों को बाहर भेजता है और एक कंप्यूटर जो सेंसर से जुड़ा होता है, यह बताता है कि प्रकाश तरंगों को कैसे अवशोषित किया जा रहा है।

प्रकाश तरंगे कैसे अवशोषित हो रही हैं ऑक्सीजन इसपर प्रभाव डाल सकता है इसलिए परिणाम का विश्लेषण करके कंप्यूटर जल्दी से यह निर्धारित कर सकता है कि आपके रक्त में कितनी ऑक्सीजन मौजूद है। ऑक्सीजन का असामान्य रूप से निम्न स्तर एक संकेत हो सकता है कि आपके पास अधिक गंभीर प्रकार का निमोनिया (pneumonia) है।

आगे की जांच (further test)

आगे के जांच की आमतौर पर तभी ज़रूरत पड़ती है यदि आपके सीने के संक्रमण के लक्षण गम्भीर हैं। सीने का एक्सरे (x-ray) ये बतला सकता है कि फेफड़े को किस निमोनिया (pneumonia) ने प्रभावित किया है। अन्य जांच जो आपके डॉक्टर सलाह दे सकते हैं

स्पूटम जांच (sputum test) – जहां आप एक डिब्बे में बलगम खाँसते हैं
खून की जांच (blood test)
स्पूटम (sputum) और खून की जांच (blood test) के दौरान लिया जाने वाला नमूने का लेबोरेटरी में विश्लेषण किया जाता है यह जानने में मदद के लिए की कौन सा रोगाणु आपके संक्रमण का कारण बन रहा है।

ताकि परीक्षण के परिणाम वापस होने तक उपचार में देरी न हो, आपका डॉक्टर आमतौर पर व्यापक पहुँच वाली एंटीबायोटिक (broad spectrum antibiotics) दवाओं के साथ इलाज शुरू करेगा, जो बैक्टीरिया की एक विस्तृत श्रृंखला के खिलाफ प्रभावी होने के लिए जाने जाते हैं।

एकबार जो रोगाणु संक्रमण का कारण बन रहा है उसका पता चल जाएगा तो आपके डॉक्टर आपके इलाज को अपने अनुसार समायोजित कर सकते हैं।

सीने में संक्रमण का इलाज (treating a chest infection)
एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के अधिकतर मामले हल्के होते हैं और अपने से सही हो जाते हैं। इसलिए लक्षणों को घरपर सम्भाला जा सकता है। यदि आपको निमोनिया (pneumonia) है तो आपका इलाज घर या अस्पताल में किया जा सकता है।

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis)

 

के अधिकतर मामलों में मेडिकल इलाज की ज़रूरत नहीं पड़ती है। आप घर पर ही लक्षणों को संभाल सकते हैं।

पर्याप्त आराम लें
डिहाइड्रेशन (dehydration) से बचने के लिए पर्याप्त तरल पीएं जो आपके फेफड़ों के बलगम (mucus) को पतला करके खाँसने में आराम पहुँचायेगा
पैरासिटामोल या इबुप्रोफेन (paracetamol or ibuprofen) से सिरदर्द (headache), बुखार (fever) और दर्द (pain) का इलाज (यदि आपको अस्थमा (asthma) है तो इबुप्रोफेन (ibuprofen) की सलाह नहीं दी जाती है)
धूम्रपान छोड़ना (stop smoking) : यह ब्रोंकाइटिस (bronchitis) को भड़का सकता है और आपको अधिक गम्भीर अवस्था होने के खतरे को बढ़ा सकता है।
इस बात के बहुत कम सबूत हैं कि खाँसी की दवाएं काम करती हैं और खांसी फेफड़ों से बलगम निकालने में मदद करती है इसलिए अपनी खाँसी को दबाना आपके संक्रमण को बढ़ा सकता है।

खाँसी (coughing) के कारण होने वाली असहजता से आराम में शहद और निम्बू का गर्म पेय आपकी सहायता कर सकते हैं।

ऐसी परिस्थितियां होती हैं जिसमें आपको डॉक्टर को दिखाने की ज़रूरत पड़ सकती है। यदि आपके लक्षण बहुत ज़्यादा गम्भीर हैं जो आपको दैनिक कार्य करने से रोक रहे हैं या वे तीन हफ़्तों से ज़्यादा रहते हैं । सीने के संक्रमण के लक्षण (symptoms of chest infection) डॉक्टर को कब दिखाएं इसके बारे में और जाने

एंटीबायोटिक (antibiotics)

आपका डॉक्टर नियमित रूप से कई महत्वपूर्ण कारणों से एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के लिए एंटीबायोटिक (antibiotics) इलाज निर्धारित नहीं कर सकता है:

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के अधिकतर मामले वायरस के कारण होते हैं जिसका मतलब यह एंटीबायोटिक (antibiotics) का कोई प्रभाव नहीं पड़ता है
आपको एंटीबायोटिक (antibiotics) लेने से उसके दुष्प्रभाव अनुभव करने की संभावना अधिक है जैसे कि उल्टी (vomiting) और दस्त (diarrhoea) क्योंकि आपको इलाज से लाभ प्राप्त करना है
अधिकतर एंटीबायोटिक (antibiotics) का इस्तेमाल हल्की अवस्थाओं तो ठीक करने के लिए होता है अधिक संभावना है कि बैक्टीरिया एंटीबायोटिक दवाओं के लिए प्रतिरोध विकसित करके अधिक गंभीर संक्रमण का कारण बन सकता है।
कई विशेषज्ञों का मानना ​​है कि इसका कारण एंटीबायोटिक-प्रतिरोधी बैक्टीरिया जैसे एमआरएसए और बहु-दवा प्रतिरोध ट्यूबरक्लोसिस (multi drug resistance tuberculosis) (एमडीआर-टीबी) के कई खतरनाक स्ट्रेन होते हैं, क्योंकि हल्के स्थितियों का इलाज करने के लिए एंटीबायोटिक दवाओं का अतीत में बहुत इस्तेमाल किया गया है।

आमतौर पर एंटीबायोटिक (antibiotics) के इस्तेमाल की सलाह तभी दी जाती है जब यह लगता है कि आपमें माध्यमिक फेफड़े के संक्रमण का खतरा बढ़ गया है जैसे कि निमोनिया । इन कारणों से जैसे कि

उम्र 75 साल से ज़्यादा है और तेज़ बुखार 38℃ या उससे ज़्यादा है
आपको अपने फेफड़ों या हृदय के साथ दीर्घकालिक समस्या है जैसे कि क्रोनिक ऑब्सट्रक्टिव पाल्मनरी रोग (chronic obstructive pulmonary disease) या हार्ट फेलियर (heart failure)
किसी अवस्था के परिणाम में इम्यून सिस्टम (immune system) का कमज़ोर होना जैसे कि मधुमेह (diabetes), कैंसर (cancer) या कुछ प्रकार के मेडिकल इलाज के कारण जैसे कि कीमोथेरेपी (chemotherapy)
यदि आपको ब्रोंकाइटिस (bronchitis) के लिए एंटीबायोटिक (antibiotics) निर्धारित किया जाता है तो पांच दिनों की खुराक में अमोक्सी‌सिलिन (ampicillin), ऑक्सीटेट्रासाइक्लीन ( Oxytetracycline) या डॉक्सीसाइक्लिन ( Doxycycline) देने की संभावना होती है।

इन दवाओं के संभावित दुष्प्रभाव में ये शामिल हैं

मिचली (nausea)
उल्टी (vomiting)
दस्त (diarrhoea)
निमोनिया (pneumonia)
यदि आपको निमोनिया है, तो आपकी स्थिति कितनी गंभीर है, इसके आधार पर आपका घर पर या अस्पताल में इलाज किया जा सकता है। आपके डॉक्टर इस बात पर विस्तृत मूल्यांकन करेंगे कि आप कितने बीमार हैं और इस बात की कितनी संभावना है कि आप और अधिक गंभीर रूप से बीमार हो सकते हैं।

सीआरबी 65 स्कोर (CRB-65 score)

संभावित निमोनिया pneumonia) की गम्भीरता का मूल्यांकन करने के लिए बहुत से डॉक्टर स्कोरिंग सिस्टम का इस्तेमाल करते हैं जिसे सीआरबी 65 कहा जाता है। सीआरबी 65 का पूरा नाम है

कन्फ्यूजन (confusion) – यह मानसिक उलझन का संकेत है कि आपको अधिक गम्भीर स्थिति हो सकती है
रेस्पिरेटरी दर (respiratory rate) – आप एक मिनट में कितनी साँस लेते हो उसे आपका रेस्पिरेटरी दर (respiratory rate) बोला जाता है। (30 साँस से ज़्यादा का मतलब है आपके फेफड़े ठीक से काम नहीं कर रहे हैं)
ब्लड प्रेशर (blood pressure) – निम्न रक्तचाप (low blood pressure) अधिक गंभीर संक्रमण का कारण हो सकता है
65 बतलाता है कि या तो आप 65 साल के हैं या उससे अधिक उम्र के। बुजुर्ग लोग निमोनिया के प्रभाव के प्रति अधिक संवेदनशील होते हैं
उपरोक्त मानदंडों में से प्रत्येक का स्कोर एक है, जिसमें सभी को जोड़ने पर कुल सीआरबी -65 स्कोर बनता है।

सीआरबी स्कोर (CRB score) में शून्य का मतलब है कि आपके पास जटिलताओं को विकसित करने का कम जोखिम है और आप आमतौर पर घर पर इलाज कर सकते हैं।
एक और दो के बीच CRB-65 स्कोर का मतलब है कि आपके पास जटिलताओं को विकसित करने का एक थोड़ा खतरा है और निमोनिया (pneumonia) के इलाज में विशेषज्ञ द्वारा एक ही दिन मूल्यांकन होना ज़रूरी है। मूल्यांकन के परिणामों के आधार पर, आप घर पर इलाज कराने में सक्षम हो सकते हैं या आपको अस्पताल में भर्ती होने की ज़रूरत पड़ सकती है।
सीआरबी -65 का स्कोर तीन या अधिक का मतलब है कि आपको जटिलताओं के विकास का बहुत खतरा है और आपको तुरंत उपचार के लिए अस्पताल में भर्ती कराना पड़ सकता है।
सेल्फ केयर (self care)
उपाय की सूची नीचे बनाई गई है जो निमोनिया (pneumonia) के लक्षणों से आराम में आपकी मदद कर सकते हैं

दर्दनिवारक (painkillers) जैसे कि पैरासिटामोल या इबुप्रोफेन (paracetamol or ibuprofen) दर्द से आराम और बुखार कम करने में मदद कर सकते हैं
एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) के साथ निमोनिया (pneumonia) के लक्षणों के इलाज में खाँसी (cough) की दवाओं का सुझाव नहीं दिया जाता है। खाँसी (coughing) फेफड़ों से बलगम (phlegum) साफ करने में आपकी मदद कर सकती है इसलिए अपनी खाँसी को रोकना आपके संक्रमण को बढ़ा सकता है।खाँसी के कारण हुई असहजता को कम करने के लिए शहद और निम्बू का गर्म पेय मदद कर सकता है।
डिहाइड्रेटेड (dehydrated) होने से बचने के लिए पर्याप्त तरल पीएं
अपने शरीर की सुधार में मदद के लिए पर्याप्त आराम करें
यदि आप धूम्रपान करते हैं तो उसे बन्द कर दें धूम्रपान आपके फेफड़ों (lungs) को नुकसान पहुँचाता है तो धूम्रपान छोड़ने का यह अच्छा अवसर है।
अस्पताल में इलाज (treatment at hospital)
यदि आपके लक्षण मध्यम हैं, तो आमतौर पर आपका इलाज एंटीबायोटिक गोलियों (antibiotics tablets) के साथ किया जा सकता है।

यदि आपके लक्षण गंभीर हैं, तो आमतौर पर आपके हाथ में ड्रिप (अंतःशिरा एंटीबायोटिक्स) (intravenous antibiotics) लगाकर सीधे आपकी नसों में एंटीबायोटिक्स देना शामिल हो सकता है। आपको सांस लेने में मदद करने के लिए ऑक्सीजन और डिहाइड्रेटेड होने से रोकने के लिए अतिरिक्त तरल पदार्थ भी दिए जा सकते हैं।

आप कितने अच्छे से इलाज के प्रतिक्रिया करते हैं ये इसपर निर्भर करता है। कुछ दिनों बाद इंट्रावेनस एंटीबायोटिक (intravenous antibiotics) से ओरल एंटीबायोटिक (oral antibiotics) पर जाने की संभावना हो सकती है।

अधिकतर लोग जिनका इलाज अस्पताल में होता है उन्हें 7 से 10 दिन के एंटीबायोटिक (antibiotics) कोर्स की ज़रूरत पड़ती है। घर लौटने में आपको कितना समय लगेगा, यह आपके स्वास्थ्य की सामान्य स्थिति और क्या आपने किसी जटिलता का अनुभव किया है यह इसपर निर्भर करेगा।

फॉलो अप follow up)

आमतौर पर यह सलाह दी जाती है कि आप अपने लक्षणों की शुरुआत के छह सप्ताह बाद फॉलो अप परीक्षा में भाग लें ताकि यह पता चल सके कि निमोनिया (pneumonia) से आपके फेफड़ों (lungs) को कोई गंभीर या स्थायी क्षति तो नहीं हुई है।

फॉलो अप परीक्षा में आमतौर पर छाती का एक्स-रे लेना शामिल होता है ताकि आपके फेफड़ों की स्थिति का आकलन किया जा सके।

सीने के संक्रमण से रोकथाम (preventing a chest infection)
अच्छी स्वच्छता सीने के संक्रमण (chest infection) का कारण बनने वाले बैक्टीरिया और वायरस को फैलने से रोकने में मदद कर सकती है।

यदि आपको सीने में संक्रमण होने का गम्भीर खतरा है तो आपके डॉक्टर कुछ वैक्सीनेशन (vaccination) की सलाह दे सकते हैं।

स्वच्छता
सीने के संक्रमण (chest infection) का कारण बनने वाले बैक्टीरिया और वायरस के फैलने के खतरे को कम करने लिए

खाँसते और छींकते समय अपने मुँह को ढकें
अपने हाथों को नियमिय रूप से गर्म पानी और साबुन से धुलें
इस्तेमाल किये हुए टिशू को तुरंत फेंक दें।
रोगाणुओं को फैलने से कैसे रोकें इसके बारे में और जानें

वैक्सीनेशन (vaccination)
यदि आपको सीने में संक्रमण (chest infection) होने का अधिक खतरा है तो आपके डॉक्टर आपको इन्फ्लूएंजा (influenza) (फ्लू) (flu) और न्युमोकोकल संक्रमण (pneumococcal infection){(एक बैक्टीरिया जो निमोनिया (pneumonia), मेनिनजाइटिस (meningitis) और खून के संक्रमण का कारण बनता है) के लिए वैक्सीनेशन की सलाह दे सकते हैं।

वैक्सीनेशन (vaccination) आपको भविष्य में होने वाले सीने के संक्रमण से बचा सकती है ।आमतौर पर वैक्सीनेशन की सलाह दी जाती है

65 वर्ष से बड़ी उम्र के लोगों को
लोग जिन्हें या तो क्रोनिक रेस्पिरेटरी (chronic respiratory), हार्ट (heart), रीनल (renel) या लिवर (liver) की अवस्था हो
लोग जिन्हें मधुमेह (diabetes) हो
लोग जिन्हें सिकेल सेल एनीमिया (sickel cell anaemia) हो (एक वंशानुगत रक्त की समस्या)
लोग ऐसी अवस्था के साथ जो इम्यून सिस्टम को प्रभावित करे। जैसे कि एचआईवी।
बच्चे जिनकी उम्र पांच साल से कम हो
धूम्रपान छोड़ना
यदि आप धूम्रपान करते हैं तो सीने का संक्रमण विकसित करने से बचने के लिए सबसे अच्छी चीज़ है कि आप सिगरेट पीना बन्द कर सकते हैं। धूम्रपान आपके फेफड़ों (lungs) को नुकसान पहुँचाता है और संक्रमण के विरुद्ध होने वाली सुरक्षा को कमज़ोर करता है।

शराब
अत्यधिक और बहुत दिनों तक शराब का दुरुपयोग संक्रमण के विरुद्ध आपके फेफडों (lungs) के सामान्य सुरक्षा को कमज़ोर कर सकता है। और आपको निमोनिया (pneumonia) के प्रति अत्यधिक संवेदनशील बना सकता है।

एक अध्ययन में पाया गया कि 45% लोग जो निमोनिया (pneumonia) के लिए अस्पताल में भर्ती होते हैं उन्हें शराब के दुरुपयोग की समस्या होती है। शराब के दुरुपयोग को साप्ताहिक सीमा से ऊपर पीने के रूप में परिभाषित किया जाता है। जोकि पुरुषों के लिए 21 यूनिट और महिलाओं के लिए 14 यूनिट है।

शराब निमोनिया (pneumonia) के खतरे को और बढ़ा सकता है यह अनुमान लगाया गया है कि जो लोग शराब का दुरुपयोग करते हैं,सामान्य आबादी की तुलना में उनके निमोनिया से मरने की संभावना तीन से सात गुना अधिक होती है।

यदि आप शराब पीते हैं, तो बताई हुई दैनिक सीमा (पुरुषों के लिए दिन में तीन से चार यूनिट और महिलाओं के लिए दिन में दो से तीन यूनिट) से अधिक न हों।

अपने डॉक्टर से संपर्क करें यदि आपको अपने पीने को संयत करने में मुश्किल हो रही है। आपके शराब सेवन को कम करने में मदद करने के लिए परामर्श सेवाएँ और दवाएँ उपलब्ध हैं। शराब के दुरुपयोग (alcohol misuse) में और जानें।

आहार (diet)
स्वस्थ आहार खाना आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत और आपको सीने के संक्रमण के प्रति कम संवेदनशील बनाने के रूप में जाना जाता है। निम्न वसा (low fat) और उच्च फाइबर (high fiber) वाले आहार का सुझाव दिया जाता है जिसमें साबुत अनाज और पर्याप्त फल और सब्ज़ियां शामिल होती हैं।

सीने में संक्रमण की जटिलताएँ (chest infection complications)
एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) और निमोनिया (pneumonia) दोनों विभिन्न जटिलताओं का कारण बन सकती हैं:

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis)

एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) आपके फेफड़ों में माध्यमिक संक्रमण का कारण बनता है फेफड़ा मूल संक्रमण के कारण कमज़ोर और बैक्टीरिया से संक्रमित होने के प्रति अधिक संवेदनशील हो सकता है।

यदि आप माध्यमिक संक्रमण को विकसित करते हैं तो यह एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) की तुलना में अधिक गम्भीर हो सकता है । इसका इलाज आमतौर पर एंटीबायोटिक से किया जा सकता है। कभी-कभी एक्यूट ब्रोंकाइटिस (acute bronchitis) निमोनिया (pneumonia) तक ले जा सकता है विशेष रूप से यदि आपको अन्य स्वास्थ्य अवस्थाएँ हैं

अपने डॉक्टर को दिखाएं

यदि आप उच्च तापमान 38℃ के लक्षण विकसित करते हैं या आपका मौजूदा उच्च तापमान अचानक और खराब हो गया है
आप सुस्त, उलझे और भटके हुए महसूस कर रहे हैं
आपको सीने में दर्द हो रहा है
आपकी साँस अचानक बहुत तेज़ हो गई है
आपकी साँस फूल रही है
आपकी खाँसी तीन हफ़्तों से ज़्यादा रहती है
आपको एक्यूट ब्रोंकाइटिस के दौरे बार बार होते हैं
निमोनिया (pneumonia)

प्ल्यूरल इफ्यूजन (pleural effusion)

प्ल्यूरल इफ्यूजन (pleural effusion) निमोनिया की एक आम जटिलता है जो लगभग 1 में 2 लोगों को प्रभावित करती है जिन्हें मध्यम से गंभीर निमोनिया के लिए अस्पताल में भर्ती कराया जाता है।

प्ल्यूरल इफ्यूजन (pleural effusion) वह जगह होती है जहाँ तरल पदार्थ की एक अतिरिक्त मात्रा डबल लेयर्ड झिल्ली (आवरण) के अंदर इकट्ठा हो जाती है जो फेफड़े को घेर लेती है, जिसे प्लूरा (pleura) कहा जाता है।

द्रव फेफड़ों (lungs) पर दबाव डाल सकता है, जिससे सांस लेना मुश्किल हो जाता है। निमोनिया (pneumonia) का इलाज होने पर आमतौर पर प्ल्यूरल इफ्यूजन (pleural effusion) स्वयं ही ठीक हो सकता है।

प्ल्यूरल इफ्यूजन (pleural effusion) के मामलों में, आमतौर पर यह सलाह दी जाती है कि एक तरल पदार्थ का नमूना लिया जाता है और यह निर्धारित करने के लिए जांच की जाती है कि क्या तरल संक्रमित हो गया है (नीचे देखें)। यदि कोई संक्रमण मौजूद नहीं है, तो आमतौर पर देखो और इंतज़ार करो ’की रणनीति की सलाह दी जाती है क्योंकि अंदरूनी निमोनिया संक्रमण बीतने के बाद प्ल्यूरल इफ्यूजन के अधिकांश मामलों को ठीक किया जा सकता।

एम्पाइमा (empyema)

अस्पताल में इलाज किए जाने वाले निमोनिया के लगभग 10% मामलों में, एक प्ल्यूरल इफ्यूजन (pleural effusion) बनाने वाले तरल पदार्थ बैक्टीरिया द्वारा संक्रमित हो सकते हैं। इसे एम्पाइमा (empyema) के नाम से जाना जाता है। बैक्टीरिया मवाद के निर्माण का कारण बन सकता है, जो कभी-कभी एक चौथाई पिंट (142.5 मिमी) तक पहुंच सकता है।

एम्पाइमा (empyema) के लक्षणों में ये शामिल हैं

सीने में दर्द (chest pain) जो साँस खींचते समय और खराब हो जाये
सूखी खाँसी (dry cough)
तेज़ बुखार 38℃ या उससे ज़्यादा (high temperature)
ठंड लगना (chills)
बहुत अधिक पसीना होना (excessive sweating) मुख्य रूप से रात में
साँस फूलना (shortness of breath)
बीमार होने की सामान्य समझ
एम्पाइमा (empyema) का इलाज आमतौर पर एंटीबायोटिक (antibiotic) दवाओं के संयोजन और एक प्रक्रिया से किया जाता है जो प्लूरा (pleura) से मवाद को बाहर निकालता है। यह आमतौर पर आपके सीने में (स्थानीय एनेस्थेटिक के द्वारा ) एक छोटा चीरा बनाकर किया जाता है, और फिर मवाद और तरल पदार्थ को बाहर निकालने के लिए प्लूरा (pleura) में एक ट्यूब डाल दिया जाता है।

एम्पाइमा (empyema) के सबसे गंभीर मामलों में मवाद को हटाने और आपके प्लूरा (pleura) और फेफड़ों (lungs) को किसी भी अंदरूनी क्षति की मरम्मत के लिए सर्जरी की आवश्यकता हो सकती है।

फेफड़े का फोड़ा (lung abscess)

फेफड़े का फोड़ा (lung abscess) निमोनिया (pneumonia) की एक दुर्लभ जटिलता है और ज्यादातर ऐसे लोगों में देखा जाता है, जिन्हें गंभीर, पहले से मौजूद बीमारी है या जो शराब के दुरुपयोग का इतिहास रखते हैं।

फेफड़े का फोड़ा (lung abscess) एक मवाद से भरा गुहा है जो फेफड़ों के ऊतक के अंदर बनता है। फेफड़े के फोड़े (lung abscess) के लक्षण गंभीर निमोनिया (severe pneumonia) के समान होते हैं। इसके अलावा, आप अप्रिय-महक कफ (गाढ़ा बलगम) खाँसी और अपनी उंगलियों और पैर की उंगलियों में सूजन का अनुभव कर सकते हैं।

फेफड़ों के फोड़े (lung abscess)के अधिकांश मामलों का इलाज एंटीबायोटिक (antibiotics) दवाओं का उपयोग करके किया जा सकता है। इसमें आमतौर पर चार से छह हफ्तों तक मौखिक एंटीबायोटिक (oral antibiotics) दवाओं (गोलियों) के बाद नस के माध्यम से एंटीबायोटिक दवाओं का एक प्रारंभिक कोर्स शामिल होता है।

ज्यादातर लोग जिनके फेफड़ों में फोड़ा (lung abscess) होता है, वे तीन से चार दिनों के भीतर अपने लक्षणों में सुधार का अनुभव करेंगे। एंटीबायोटिक दवाओं (antibiotic) के अपने बताए कोर्स को समाप्त करना महत्वपूर्ण है, भले ही आप अपने फेफड़ों के पुन: संक्रमण को रोकने के लिए, पूरी तरह से स्वस्थ महसूस करते हों।

लगभग 10% लोगों को सर्जिकल इलाज (surgical treatment) की आवश्यकता होगी क्योंकि वे एंटीबायोटिक दवाओं के प्रतिक्रिया में विफल रहते हैं। सर्जरी में आमतौर पर फुंसी से मवाद निकालना या फेफड़े के प्रभावित हिस्से को निकालना शामिल होता है।

मेटास्टैसिस संक्रमण (metastatic infection)

निमोनिया (pneumonia) की एक अन्य दुर्लभ और गम्भीर जटिलता मेटास्टैसिस संक्रमण (metastatic infection) है। मेटास्टैसिस संक्रमण (metastatic infection) का मतलब होता है कि संक्रमण फेफड़े (lungs) से शरीर के अन्य हिस्से में फैल चुका है।

पहला स्थान जो आमतौर पर एक संक्रमण फैलता है वह रक्त है, जिसे सेप्टिसीमिया (septicaemia) के रूप में जाना जाता है।

सेप्टिसीमिया (septicaemia) के लक्षणों में शामिल है

तेज़ बुखार 38℃ या उससे ज़्यादा (high temperature fever)
तेज़ हृदयगति (टैचीकार्डिया) (tachycardia)
तेज़ साँस लेना (fast breathing)
निम्न रक्तचाप (हाइपोटेंशन) (hypotension) जो आपके खड़े होने पर चक्कर का कारण बन सकता है
मानसिक व्यवहार में बदलाव, जैसे भ्रम या भटकाव
दस्त (diarrhoea)
मूत्र प्रवाह में कमी (reduced iron flow)
ठंडी और चिपचिपी त्वचा (cold, clammy skin)
पीली त्वचा (pale skin)
चेतना की कमी (loss of consciousness)
एक बार जब आपका रक्त संक्रमित हो जाता है, तो संक्रमण आपके शरीर के अन्य अंगों में फैल सकता है, जैसे कि:

दिमाग की बाहरी परत पर (मेनिनजाइटिस) (meningitis)
पेट की परत पर (पेरिटोनिटिस) (peritonitis)
हृदय की अंदरूनी परत पर (एंडोकार्डिटिस) (endocarditis)
आपके जोड़ों में (सेप्टिक अर्थराइटिस) (septic arthritis)
इस प्रकार के मेटास्टैटिक संक्रमण (metastatic infection) आमतौर पर बहुत गंभीर होते हैं और इसमें उच्च खुराक वाले इन्ट्रावेन्स एंटीबायोटिक दवाओं के साथ तुरन्त उपचार की आवश्यकता होती है।

जानें क्या है फेफड़े का संक्रमण ? क्या है इलाज Reviewed by on . सीने में संक्रमण (Chest infection) सीने में संक्रमण (chest infection) मुख्य रूप से पतझड़ (Autumn) और ठंड (winter) के दौरान या ज़ुखाम (cold) या फ्लू (flu) के बाद ह सीने में संक्रमण (Chest infection) सीने में संक्रमण (chest infection) मुख्य रूप से पतझड़ (Autumn) और ठंड (winter) के दौरान या ज़ुखाम (cold) या फ्लू (flu) के बाद ह Rating: 0
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