श्रीनगर, 20 अक्टूबर (आईएएनएस)। जम्मू एवं कश्मीर पुलिस द्वारा मंगलवार को अलगाववादी नेता और जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के अध्यक्ष यासीन मलिक को अनंतनाग जिले में एहतियातन गिरफ्तार किए जाने के बाद श्रीनगर में विरोध-प्रदर्शन शुरू हो गया।
मलिक नौ अक्टूबर को उधमपुर जिले में एक ट्रक पर हुए पेट्रोल बम हमले में मारे गए जाहिद रसूल बट के परिवार के प्रति संवेदना जाहिर करने अनंतनाग स्थित बटांगू गांव जा रहे थे।
उल्लेखनीय है कि नौ अक्टूबर को उधमपुर में जम्मू-श्रीनगर राजमार्ग पर खड़े एक ट्रक पर उपद्रवियों ने पेट्रोल बम फेंका था, जिसमें जाहिद और शौकत अहमद डार गंभीर रूप से झुलस गए थे। जाहिद की रविवार को उपचार के दौरान मौत हो गई। वहीं शौकत दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में उपचाराधीन है।
यासीन मलिक मंगलवार को बटांगू गांव से अनंतनाग के मुख्य बाजार तक प्रदर्शन रैली की अगुवाई कर रहे थे, उसी दौरान पुलिस ने उन्हें बीच में रोक कर हिरासत में ले लिया।
उनके साथ जेकेएलएफ गुट के अन्य नेता जावेद मीर और मुस्लिम कान्फ्रेंस के शब्बीर डार भी मौजूद थे।
मलिक ने इससे पूर्व उधमपुर घटना के विरोध में बटांगू गांव में 24 घंटे के अनशन की घोषणा की थी।
मलिक की अगुवाई में प्रदर्शनकारियों ने जैसे ही बटांगू गांव से जुलूस निकालना शुरू किया, पुलिस ने उन्हें रोक लिया और मलिक और उनके सहयोगियों को हिरासत में ले लिया।
मीर ने फोन पर आईएएनएस को बताया, “हमें पुलिस ने हिरासत में लिया और अनंतनाग पुलिस थाने में डाल दिया। पुलिस की कार्रवाई में हमारे कुछ सहयोगी घायल हुए हैं।”
जेकेएलएफ अध्यक्ष को हिरासत में लेने की खबर मिलते ही मैसुमा में बड़ी संख्या में युवक सड़कों पर उतर आए और सुरक्षाबलों पर पत्थरबाजी की। सुरक्षाबलों को प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागने पड़े।