(खुसुर-फुसुर)– भोपाल में चल रहे विश्व हिंदी सम्मेलन में सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर बार-कोड वाले प्रवेश-पत्र बनवाये गए लेकिन गले में प्रवेश-पत्र लटकाए फोटो खिंचवाते कई ऐसे चेहरे नजर आयेंगे जिनके नाम प्रवेश-पत्र जारी ही नहीं हुआ था.फिर वे गले में रंगीन पट्टिका डाले आयोजन में कैसे प्रवेश पा गए यह सुरक्षा में बड़ी चूक है.
भोपाल में जुगाडूलाल रात भर पास की जुगाड़ करते रहे और कई सफल भी हुए लेकिन कुछ फोटो खिंचवाते समय सतर्क रहे और फोटो सेशन के दौरान पास जेब में छुपा लिया लेकिन पट्टी दिखती रही.
खुसुर-फुसुर यह है की अमिताभ बच्चन के ना आने की खबर से कई तो अपने किये प्रयासों को कोस रहे हैं और जिन्हें दुसरे के नाम का पास मिल गया है उसे वे हिकारत की नजरों से देख रहे हैं.