विदेश मंत्री की प्रवक्ता मारिया जाखारोवा ने संवाददाताओं को बताया, “हम असद का समर्थन नहीं कर रहे हैं। यह नहीं भूलें कि वह हमारा खास दोस्त नहीं है लेकिन वह पश्चिमी देशों का मित्र रहा है।”
उन्होंने कहा, “हमने सीरिया में वैध सरकार को बनाए रखने का समर्थन किया है क्योंकि हम जानते हैं कि यदि राष्ट्रपति पद छोड़ देते हैं तो सरकार बर्खास्त हो जाएगी और कार्यकारी प्रशासन और सेना बिखर जाएगी।”
उन्होंने बताया कि असद की व्यक्तिगत तौर पर मदद के लिए नहीं बल्कि देश को पतन से बचाने और मध्यपूर्व में आतंकवाद से निपटने में देश की मदद के लिए सीरिया में रूसी सेनाओं को तैनात किया गया है।
गौरतलब है कि सीरिया में पिछले पांच महीने से आतंकवादी रोधी हवाई हमले करने के बाद रूस ने राष्ट्रपति पुतिन के आदेश के बाद 15 मार्च से वहां से अपनी मुख्य सेनाओं को पीछे हटाना शुरू कर दिया है।
रूस सीरिया में असद प्रशासन का समर्थक रहा है।