नई दिल्ली, 21 जुलाई (आईएएनएस)। मानवाधिकारों पर काम करने वाली अमेरिकी संस्था, ह्यूमन राइट्स वाच ने मंगलवार को कहा है कि भारतीय संसद को किन्नर (ट्रांसजेंडर) आबादी के अधिकारों का बेहतर कानूनी संरक्षण सुनिश्चित करने के लिए एक विधेयक पारित करना चाहिए।
भारतीय सांसदों को लिखे पत्र में संस्था ने कहा है कि अगर किन्नरों के अधिकारों से संबंधित विधेयक पारित किया जाता है, तो यह उन्हें कानूनी मान्यता प्रदान करेगा, जिससे उन्हें हिंसा से सुरक्षा तथा भेदभाव सहित मौलिक मानवाधिकार प्रदान करने की राह का प्रमुख रोड़ा दूर होगा।
मानवाधिकार संस्था ने कहा है, “विधेयक की सबसे बड़ी बात यह है कि यह ट्रांसजेंडर को मौैलिक गरिमा प्रदान करता है, जो उन्हें सार्वजनिक उपहास, पुलिस तथा अन्य अधिकारियों द्वारा अपमानजनक व्यवहार से छुटकारा दिलाएगा।”
साल 2014 में सर्वोच्च न्यायालय ने फैसला दिया था कि ट्रांसजेंडर को तीसरे लिंग के रूप में पहचान मिलनी चाहिए और उन्हें मौलिक अधिकार मिलने चाहिए।
राज्यसभा द्वारा 24 अप्रैल को पारित ट्रांसजेंडर के अधिकार विधेयक उन्हें समान अधिकार प्रदान करता है।
कानून बनने के लिए इसे लोकसभा से पारित होना होगा, जहां सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार है।
सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय ने कहा है कि सरकार इस मुद्दे का समर्थन करती है, लेकिन इस संबंध में वह अपना व्यापक विधेयक लाएगी।