उज्जैन, 2 अक्टूबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश की धार्मिक नगरी उज्जैन में अगले वर्ष होने वाले कुंभ सिंहस्थ को ध्यान में रखकर क्षिप्रा नदी पर घाट बना दिए गए हैं, मगर इन घाटों तक पहुंचने वाले मार्ग की हालत ठीक नहीं है। इससे संत समुदाय नाराज है और गुरुवार को संतों ने अपनी इस नाराजगी को अफसरों के सामने जाहिर भी किया।
उज्जैन, 2 अक्टूबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश की धार्मिक नगरी उज्जैन में अगले वर्ष होने वाले कुंभ सिंहस्थ को ध्यान में रखकर क्षिप्रा नदी पर घाट बना दिए गए हैं, मगर इन घाटों तक पहुंचने वाले मार्ग की हालत ठीक नहीं है। इससे संत समुदाय नाराज है और गुरुवार को संतों ने अपनी इस नाराजगी को अफसरों के सामने जाहिर भी किया।
सिंहस्थ के मद्देनजर क्षिप्रा नदी के घाटों पर निर्माण चल रहा है। इन तैयारियों का संत समुदाय के प्रतिनिधिमंडल और अधिकारियों के दल ने गुरुवार को जायजा लिया। वे गउघाट, लालघाट, भूखीमाता घाट और त्रिवेणी घाट के निर्माण कार्य को देखने पहुंचे। यहा पर संतों ने उप मेलाधिकारी गोपाल चंद्र डांड सहित अन्य अधिकारियों के सामने अपनी नाराजगी दर्ज कराई।
संतो का कहना है कि घाट निर्माण पर तो करोड़ों रुपये खर्च हो गए, मगर घाट तक पहुंचने की सड़क का बुरा हाल है।
संत समुदाय ने क्षिप्रा नदी में मिल रही गंदगी पर भी अपनी नाराजगी जताई। उनका कहना है कि क्षिप्रा में जब तक गंदगी को मिलने से नहीं रोका जाएगा, तब तक उसका जल स्वच्छ नहीं रह सकता है।
संतों ने चेतावनी दी कि अगर गंदे पानी को नदी में आने से नहीं रोका गया तो वे धरना देंगे। अफसरों ने एक नवंबर तक का समय मांगा है।