नई दिल्ली, 4 नवंबर (आईएएनएस)। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने अभिनेता शाहरुख खान के बारे में दिए गए अपने बयान को बुधवार को वापस ले लिया। उन्होंने कहा कि उनकी बात का गलत अर्थ निकाला गया है।
विजयवर्गीय ने देश में असहिष्णुता बढ़ने संबंधी शाहरुख के बयान पर ट्वीट किया था।
विजयवर्गीय ने कहा, “अगर भारत में असहिष्णुता होती तो अमिताभ बच्चन के बाद शाहरुख खान सबसे लोकप्रिय अभिनेता नहीं होते। मेरे ट्वीट को कुछ लोगों ने तोड़ मरोड़कर पेश कर दिया।”
विजयवर्गीय ने अपने ट्विटर पेज पर लिखा, “मेरा मकसद किसी को दुख पहुंचाना नहीं था। मैं अपने ट्वीट वापस लेता हूं।”
विजयवर्गीय ने मंगलवार को पांच ट्वीट किए थे।
उन्होंने लिखा था कि शाहरुख खान रहते भले ही भारत में हैं लेकिन उनका दिल और दिमाग पाकिस्तान में रहता है। और, जबकि उनकी फिल्में भारत में करोड़ों कमाती हैं फिर भी उन्हें देश में ‘चरम पर असहिष्णुता’ नजर आती है।
उन्होंने ट्वीट किया था, “अगर यह गद्दार होना नहीं है तो फिर क्या है? भारत को सुरक्षा परिषद का स्थायी सदस्य बनना है। पाकिस्तान समेत कुछ देश इसके खिलाफ साजिश कर रहे हैं। “
विजयवर्गीय ने लिखा, “असहिष्णुता का माहौल बनाना इसी साजिश का हिस्सा है। शाहरुख असहिष्णुता का गाना गा रहे हैं। यह भारत विरोधी पाकिस्तान और अन्य देशों के सुर में सुर मिलाना है।”
विजयवर्गीय ने लिखा, “जब 1993 में मुंबई विस्फोट में कई लोग मारे गए तब उस वक्त शाहरुख कहां थे? जब मुंबई में 26/11 हुआ उस वक्त वह कहां थे? आज दुनिया भारत के नेतृत्व की सराहना कर रही है। और, ऐसे में असहिष्णुता बढ़ने की बात कहना दुनिया में भारत के रुतबे को कमजोर करना है।”
शाहरुख ने अपनी पचासवीं वर्षगांठ पर एक टीवी चैनल से साक्षात्कार में कहा था, “असहिष्णुता है..बहुत ज्यादा असहिष्णुता है..असहिष्णुता बढ़ रही है।”