बीजिंग, 24 फरवरी (आईएएनएस/सिन्हुआ)। चीन ने बुधवार को ताइवान के उस विधायी प्रस्ताव की घोर निंदा की है, जिसके तहत ताइवान में सरकारी इमारतों और स्कूलों से सन यात सेन की प्रतिमाओं को हटाने का निर्णय लिया गया है।
बीजिंग, 24 फरवरी (आईएएनएस/सिन्हुआ)। चीन ने बुधवार को ताइवान के उस विधायी प्रस्ताव की घोर निंदा की है, जिसके तहत ताइवान में सरकारी इमारतों और स्कूलों से सन यात सेन की प्रतिमाओं को हटाने का निर्णय लिया गया है।
राज्य परिषद ताइवान मामलों के कार्यालय के प्रवक्ता आन फेंगशान ने ताइवान की प्रो-इंडिपेंडेंस डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी (डीपीपी) के इस प्रस्ताव की खुले तौर पर आलोचना की है।
आन ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, “ताइवान के लोगों को इस तरह की नीतियों से सचेत हो जाना चाहिए।”
आन के अनुसार, ताइवान में भी इस प्रस्ताव को निर्थक रूप में देखा गया है। इस तरह की नीतियों का उद्देश्य चीन और ताइवान के संबंधों को तोड़ना है।
1866 में जन्मे सन को साल 1911 क्रांति के दौरान अपनी प्रमुख भूमिका के लिए जाना जाता है, जिसमें उन्होंने शाही किंग राजवंश को उखाड़ फेंका था, और 2 हजार वर्षो से चले आ रहे सामंती शासन का अंत कर दिया था।
आन कहते हैं, “आधुनिक समय में चीन की लोकतांत्रिक क्रांति के अग्रदूत के रूप में माननीय सन यात-सेन ने चीनी राष्ट्र के पुनरुद्धार और एकीकरण के लिए अपना पूरा जीवन समर्पित कर दिया था। वह सभी चीनी लोगों से सम्मान प्राप्ति के हकदार हैं।”